LIVE TVअपराधउत्तर प्रदेशदेवरियाब्रेकिंग न्यूज़राजनीतिराज्य

संघ कार्यकर्ता की थाने में पिटाई, मुंशी दीवान सिपाही लाइन हाजिर

लार थाना में संघ कार्यकर्ता की बेटी से भी हुआ दुर्व्यवहार

 

संघ कार्यकर्ता का रोते हुए वीडियो वायरल

पुलिस ने थाने में मेरी बेटी का बाल पकड़ कर घसीटा

विरोध पर मुझे बंद कमरे में लाठियों से पीटा

स्वाभिमान जागरण संवाददाता

देवरिया। लार थाना क्षेत्र के ग्राम भीखम छपरा निवासी संघ कार्यकर्ता रामेश्वर तिवारी और उनकी बेटी स्नेहा तिवारी के साथ थाना कैंपस में मारपीट के कथित मामले और उसके बाद रामेश्वर तिवारी का रोते बिलखते वायरल हुए वीडियो के बाद पुलिस अधीक्षक संकल्प शर्मा ने इस घटना का संज्ञान लेते हुए दंडनात्मक कार्रवाई कर लार थाने के दीवान उमेश चंद यादव, मुंशी अंकित यादव और सिपाही कुश कुमार गोड को लाइन हाजिर कर दिया।

भीखम छपरा मे संजय तिवारी और रामेश्वर तिवारी के बीच विवाद हुआ था। संजय तिवारी का डीलेवरी पाईप रामेश्वर तिवारी के ट्रेक्टर से दब कर फट गया था। इसी बात को लेकर दोनों पक्ष आपस में मारपीट किए थे। दोनों पक्ष को पुलिस थाने लाई थी। रामेश्वर तिवारी ने पूछताछ करने वाले दरोगा से अपना परिचय देते हुए कहा कि हम संघ कार्यकर्ता है। बगल में उनकी बीस वर्षीय बेटी भी बैठी थी। आरोप है कि तीन पुलिसकर्मी दफ्तर से आए और लडकी का बाल पकड़ कर घसीट कर केबिन में ले जाने लगे। रामेश्वर तिवारी ने जब इसका विरोध किया तो तीन पुलिसकर्मी थाना प्रभारी के आफिस में ले जाकर लाठियों से पीटें। उसके बाद दोनो पक्षों का शांति भंग में रात नौ बजे चालान कर दिया। दूसरे दिन रामेश्वर तिवारी का एक रोते बिलखते वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। जिले में सबसे पहले देवरिया टाइम्स ने वायरल वीडियो को ट्वीट किया। देवरिया टाइम्स ने सुबह 11 बजकर 43 मिनट पर अपने ट्विटर हैंडल से देवरिया पुलिस अधीक्षक से कार्रवाई की मांग उठाई। जबाव में देवरिया पुलिस ने लिखा कि उभय पक्षों का शांतिभंग में चालान किया गया है। पुलिस के इस जवाब से लोग संतुष्ट नहीं हुए और सोशल साइट्स पर लार थाना ट्रोल होने लगा । सोशल मीडिया पर समाज के प्रबुद्ध लोग, संघ कार्यकर्ता, काली सेना, भाजपा आदि संगठन मोर्चा खोल दिए। इसके बाद  रामेश्वर तिवारी थाने में अपने साथ हुए ज्यादती की जांच कर दोषी पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की मांग को लेकर गुरुवार को पुलिस अधीक्षक कार्यालय में जाकर अपनी शिकायती प्रार्थना पत्र दिए। उसके बाद तो पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया। रामेश्वर तिवारी ने कहा कि मामले को लेकर वे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के जनता दरबार में जायेंगे। देर शाम तक पुलिस अधीक्षक संकल्प शर्मा ने मामले की जांच कराई, रिपोर्ट मंगाई और उसके बाद विभागीय कार्रवाई करते हुए दीवान उमेश चंद यादव, मुंशी अंकित यादव और सिपाही कुश कुमार गोड को लाइन हाजिर कर दिया।

Related Articles

Back to top button
error: Content is protected !!